परेशानी का अनोखा हल – Moral Stories in Hindi – Paresaani ka Hal

Moral Stories in Hindi - Paresaani ka Hal - netik shikcha

“परेशानी का अनोखा हल” – Moral Stories in Hindi

 

Moral Stories in Hindi , दोस्तों आज की इस Hindi Moral Stories में आपको एक बहुत बड़ी सीख सीखने को मिलेगी।

ये कहानी रोचक होने के साथ – साथ  सीख भी देगी इस कहानी को अपने Family के साथ जरूर पढ़ना। 

दोस्तो, आज आपके सामने एक ऐसी कहानी है , जिसको पढ़कर आपकी लाइफ बदल जाएगी। हमारी लाइफ में कई सारी परेशानिया आती है और हम घबरा जाते है।

उस परेशानी का हल हमारी आंखों के सामने ही होता है लेकिन  हम उसे देख भी नही पाते है।

 

तो चलिए शुरू करते है आज की ये कहानी –

एक शहर में एक अमीर आदमी रहता था। उसको पैसों का बहुत घमण्ड था। एक बार किसी कारण से उसकी आँखों मे इन्फेक्शन हो गया और उसकी आँखों मे बुरी तरह जलन होने लगी।

वह कई डॉक्टर के पास गया, लेकिन किसी भी डॉक्टर को उसकी परेशानी समझ नही आयी।

वह बहुत परेशान होने लगा। वह अपना इलाज कराने विदेश चला गया।

वहाँ एक बड़े डॉक्टर ने उसकी आँखे देखी और कहा – मैंने अपनी पूरी लाइफ में अभी तक ऐसा केस नही देखा है।

 Moral Stories in Hindi - Paresaani ka Hal

 

( वह आदमी बहुत डर जाता है )

वह डॉक्टर से पूछता है – क्या हुआ डॉक्टर।

डॉक्टर कहते है – आपकी आंखों में एलर्जी हो गयी है। आप सिर्फ ‘ हरा रंग ‘ ( Green color ) देख सकते है

यदि आप हरे कलर के अलावा’ दूसरे कलर’ देखोगे, तो आपकी आंखों में जलन होने लगेगी और धीरे – धीरे आपकी आंखों की रोशनी चली जायेगी।

 

( वह बहुत उदास हो जाता है )

उसके पास पैसा तो बहुत होता है, इसलिए वह पेंटर को बुलाता है और कहता है – तुम इस घर को ‘ हरा कलर ‘ कर दो और जहाँ भी, मैं जाता हूं, पूरी जगह को हरा कर दो।

उसने अपनी गली, सड़क ,बोर्ड सब कुछ हरा करवा दिया।

Moral Stories in Hindi - Paresaani ka Hal

उसने बहुत पैसा खर्च कर दिया, फिर भी कोई ना कोई ऐसी चीज रह जाती। जिसको हरा नही किया जा सकता था।

जैसे नीला आसमान, खाना खाने के लिए रोटी, और शरीर का कलर, सब चीजों को हरा कलर नही किया जा सकता था।

 

( उसका हर रोज बहुत ज्यादा पैसा ख़र्च हो जाता था )

एक दिन उसी गली से एक लड़का निकल रहा था। उसने देखा कि, चारो ओर हरा कलर ही क्यों है।

उसने वहां कुछ लोगो से पूछा – कि यहाँ चारो ओर ‘हरा कलर’ क्यों है।

लोगो ने बताया कि, यहाँ एक अमीर आदमी रहता है। उसकी आँखों मे एलर्जी है।

अगर वह हरे कलर के अलावा दूसरा कलर देखता है तो उसकी आँखों मे जलन होने लगती है। इसलिए सब जगह हरा कलर है।

 

वह लड़का उस आदमी के पास जाता है और कहता है – आपने सभी जगह को हरा क्यों कर दिया है। आपकी परेशानी का दूसरा इलाज भी हो सकता है।

आपकी परेशानी का इलाज बहुत ही सस्ता और आसान है। आप वेवजह ही इतना पैसा खर्च करते हो।

वह आदमी कहता है – आप बताओ, इस परेशानी का क्या हाल हो सकता है।

 

लड़का कहता है – आपकी परेशानी का हल अभी निकल सकता है। आप एक ‘हरे कलर का चश्मा पहनो।’

जिससे आपको सारी चीजे हरी दिखाई देंगी। जो बहुत ही सस्ता होगा और आपका एक पैसा भी खर्च नही होगा।

 

( यह सुनकर उस अमीर आदमी की आंखें खुली की खुली रह जाती है )

वह सोचता है, कि कितना आसान तरीका है। मैं, ना जाने कितना पैसा खर्च करता रहा। मैं हड़बड़ी में फैसले लेता रहा।

मेरी परेशानी का हल मेरे सामने था। अगर, मैं आराम से इस बारे मे सोचता, तो आसानी से हल निकल आता।

 

 

Moral of the Story

दोस्तो, कई बार हमारे सामने कुछ परेशानिया आ जाती है। जो बहुत ही आसान होती है। उसका हल भी हमारे सामने होता है। लेकिन हम हड़बड़ाहट में ठीक से सोच नही पाते है और घबरा जाते है। जिससे हम अपनी लाइफ में गलत फैसले ले लेते है।

 

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Moral Stories in Hindi , तो दोस्तों अगर आपको इस कहानी से कुछ सीखने को मिला और आपको ये कहानी अच्छी लगी हो तो इसेअपने दोस्तों के साथ Social media पर Shareभी कर देना। 

 

तो मिलते है एक नयी कहानी में  ( Moral Story in Hindi ) की जुबानी में।

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